भजन

शिव रे स्वरुपी शान्तिनाथजी म्हारा दाता भजन – Shiv Re Swaroopi Shantinathji Mhara Data Bhajan – Hinduism FAQ

धर्म दर्शन वॉट्स्ऐप चैनल फॉलो करें Join Now
  • – यह भजन शिव स्वरूप शान्तिनाथजी और सतगुरुजी की महिमा का वर्णन करता है, जो भक्तों के दाता और मार्गदर्शक हैं।
  • – जालौरी के पवित्र स्थानों, जैसे भाकर, डुंगरे, भवड गुंफा, और सिरेमंदिर समाधि का उल्लेख है, जहां भक्त ध्यान और जप करते हैं।
  • – भजन में केशरनाथजी और उत्तमसिंह राठौंड जैसे धार्मिक और ऐतिहासिक व्यक्तित्वों की भी स्तुति की गई है।
  • – गंगा नदी की पवित्रता और उसके चरणों की सेवा करने का महत्व बताया गया है, जो भक्तों को भवसागर से पार लगाने वाली है।
  • – यह भजन श्रद्धालुओं को सतगुरुजी के दर्शन और आशीर्वाद के लिए आमंत्रित करता है, जिससे वे मोक्ष और शांति प्राप्त कर सकें।
  • – भजन के रचनाकार मदनसिंह जोरावत राठौंड़ बागरा हैं, और इसे जोगभारती तथा गीता गौस्वामी ने गाया है।

Thumbnail for shiv-re-swarupi-shantinath-ji-mhara-data-bhajan-lyrics

शिव रे स्वरुपी शान्तिनाथजी म्हारा दाता,
भेरु रे अखाडे़ ज्योरो धाम रे,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
जालौरी रा पीर अमर धाम,
ओ धीन गुरुजी म्हारा,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।



जालौरी भाकर मे उंचे,

डुंगरे म्हारा दाता,
जालौरी पर्वत उंचे,
डुंगरे म्हारा दाता,
भवड गुंफा मे जपिया जाप,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
शिव भोला ने रटीया आप,
ओ धीन गुरुजी म्हारा,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।



अरे सिरेमंदिर स्वर्ग,

सोवणो म्हारा दाता,
नव रे नाथो रो प्रकाश,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
केशरनाथजी रो प्रताप,
ओ धीनगुरुजी म्हारा,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।



सिरेमंदिर समाधी,

आपरी म्हारा दाता,
आवे आवे जुग संसार,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।



गांव रे नरसोणा सु,

आया आपरे म्हारा दाता,
उत्तमसिंह राठौंड आपरे द्वार,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
कर देजो भव सु पार ओ,
औ धीन गुरुजी म्हारा,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।

यह भी जानें:  तू मेरे साथ है डर की क्या बात है भजन लिरिक्स - Tu Mere Saath Hai Dar Ki Kya Baat Hai Bhajan Lyrics - Hinduism FAQ


गंगा ज्यु निर्मल गंगा,

नाथजी ओ दाता,
करे थारे चरणो री सेवा,
ओ म्हारा दाता,
कर दीजो भव सुई पार,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
पुरोहीत चेतन ने चरणा,
राखियो म्हारा दाता,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।



शिव रे स्वरुपी शान्तिनाथजी म्हारा दाता,

भेरु रे अखाडे़ ज्योरो धाम रे,
ओ सतगुरुजी म्हारा,
जालौरी रा पीर अमर धाम,
ओ धीन गुरुजी म्हारा,
आवो नी पधारो म्हारे बेल ओ….हो।।

भजन प्रेषक – मदनसिंह जोरावत राठौंड़ बागरा
सिंगर:- जोगभारती ,गीता गौस्वामी


अस्वीकरण (Disclaimer) : नुस्खे, योग, धर्म, ज्योतिष आदि विषयों पर HinduismFAQ में प्रकाशित/प्रसारित वीडियो, आलेख एवं समाचार सिर्फ आपकी जानकारी के लिए हैं। 'HinduismFAQ' इसकी कोई ज़िम्मेदारी नहीं लेती है।

प्रातिक्रिया दे

आपका ईमेल पता प्रकाशित नहीं किया जाएगा. आवश्यक फ़ील्ड चिह्नित हैं *

You may also like