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बालाजी म्हारा कष्ट निवारो जी,
दुखड़ा का मारया हाँ,
म्हणे आन उबारो जी ॥

बालाजी प्रभु राम जी का प्यारा जी,
म्हारी विनती सुन लीजो,
बाबा थाने पुकारा जी ॥

लंका में जाकर आग लगाई जी,
सागर में जाकर के,
बाबा पूंछ बुझाई जी ॥

थाने रामनाम की धुन अच्छी लागे जी,
सूती किस्मत बाबा,
थारे नाम से जागे जी ॥

दुखड़ा में बाबो दोड़्यो ही आवे जी,
हम सब पर मेहर करो,
थारी महिमा गावा जी ॥

बालाजी म्हारा कष्ट निवारो जी,
दुखड़ा का मारया हाँ,
म्हणे आन उबारो जी ॥

बालाजी म्हारा कष्ट निवारो जी: भजन का अर्थ

भजन का सार

यह भजन भगवान हनुमान जी की महिमा का बखान करता है और उनके प्रति पूर्ण समर्पण भाव को प्रदर्शित करता है। इसमें न केवल भक्त की विनती और पीड़ा है, बल्कि भगवान हनुमान के कार्यों की महानता, उनके साहस और उनकी करुणा का विस्तार से वर्णन किया गया है। यह भजन जीवन के हर पहलू में हनुमान जी के प्रति अटूट श्रद्धा और विश्वास का संदेश देता है। आइए, पंक्ति-दर-पंक्ति इसके गहरे अर्थों को समझते हैं।


बालाजी म्हारा कष्ट निवारो जी

भावार्थ:

यह भजन की उद्घाटन पंक्ति है। इसमें भक्त बालाजी (हनुमान जी) से सीधे संवाद करते हुए कहता है, “हे प्रभु, मेरे जीवन के सभी कष्ट दूर कीजिए।”

  1. “कष्ट निवारो”: यहां कष्ट का मतलब केवल शारीरिक पीड़ा से नहीं है, बल्कि मानसिक, भावनात्मक, और आध्यात्मिक समस्याओं से भी है।
  2. गहरा संदेश: यह पंक्ति इस बात को दर्शाती है कि भक्त अपने जीवन की सभी परेशानियों को केवल भगवान की कृपा से हल कर सकता है।

दुखड़ा का मारया हाँ, म्हणे आन उबारो जी

भावार्थ:

भक्त अपने दुखों का वर्णन करते हुए कहता है, “मैं दुखों से बुरी तरह पीड़ित हूं। हे भगवान, मुझे बचा लीजिए।”

  1. “दुखड़ा का मारया”: यह पंक्ति भक्त के जीवन की कठिनाइयों का प्रतीक है। यहां दुख केवल बाहरी नहीं, बल्कि आंतरिक संघर्षों की ओर भी संकेत करता है।
  2. “आन उबारो”: यह भगवान से पूर्ण विश्वास के साथ की गई प्रार्थना है कि वे उद्धार करेंगे।
  3. गहरा संदेश: यह पंक्ति दर्शाती है कि जब मनुष्य के सभी रास्ते बंद हो जाते हैं, तब केवल ईश्वर ही उसकी रक्षा कर सकते हैं।

बालाजी प्रभु राम जी का प्यारा जी

भावार्थ:

इस पंक्ति में हनुमान जी को भगवान राम के प्रिय भक्त के रूप में संबोधित किया गया है।

  1. “राम जी का प्यारा”: हनुमान जी भगवान राम के सबसे प्रिय सेवक और मित्र हैं।
  2. गहरा संदेश: यह भक्त को यह विश्वास दिलाता है कि जो भगवान राम के इतने निकट हैं, वे निश्चित ही भक्तों की प्रार्थनाओं का उत्तर देंगे।

म्हारी विनती सुन लीजो, बाबा थाने पुकारा जी

  1. “विनती सुन लीजो”: यहां भक्त अपने दुख और विनम्रता को व्यक्त करता है।
  2. गहरा संदेश: भक्त हनुमान जी को याद दिलाता है कि वे अपने भक्तों की पुकार सुनने के लिए प्रसिद्ध हैं।

लंका में जाकर आग लगाई जी

भावार्थ:

हनुमान जी की वीरता और शक्ति का वर्णन किया गया है।

  1. “लंका में आग लगाई”: यह घटना हनुमान जी के साहस और उनकी शक्ति को दर्शाती है, जब उन्होंने अन्याय और अधर्म का नाश करने के लिए रावण की लंका को जलाया।
  2. गहरा संदेश: यह पंक्ति भक्त को यह याद दिलाती है कि हनुमान जी के पास हर बाधा को समाप्त करने की शक्ति है।

सागर में जाकर के, बाबा पूंछ बुझाई जी

  1. “सागर में जाकर”: यह पंक्ति हनुमान जी की यात्रा और उनकी दृढ़ता को दर्शाती है।
  2. “पूंछ बुझाई”: यहां उनकी सहनशीलता और कष्ट सहने की क्षमता को दिखाया गया है।
  3. गहरा संदेश: यह पंक्ति बताती है कि भगवान अपने भक्तों के कष्टों को समझते हैं और उन्हें सहने की शक्ति प्रदान करते हैं।

थाने रामनाम की धुन अच्छी लागे जी

भावार्थ:

हनुमान जी को भगवान राम के नाम की धुन प्रिय है।

  1. “रामनाम की धुन”: यह हनुमान जी की अटूट भक्ति और उनकी एकाग्रता को दर्शाती है।
  2. गहरा संदेश: भक्तों को इस पंक्ति से यह शिक्षा मिलती है कि भगवान का नाम जपने से ही हर समस्या का समाधान हो सकता है।

सूती किस्मत बाबा, थारे नाम से जागे जी

  1. “सूती किस्मत जागे”: भगवान का नाम सोई हुई किस्मत को भी जगा सकता है।
  2. गहरा संदेश: भगवान हनुमान के प्रति भक्ति और श्रद्धा से जीवन में नए अवसर और संभावनाएं खुल सकती हैं।

दुखड़ा में बाबो दोड़्यो ही आवे जी

भावार्थ:

भक्त कहता है कि जब भी कोई भक्त संकट में होता है, हनुमान जी तुरंत सहायता के लिए दौड़ पड़ते हैं।

  1. गहरा संदेश: यह पंक्ति भगवान की करुणा और उनकी तत्परता को दिखाती है। भक्तों को यह विश्वास दिलाती है कि भगवान उन्हें कभी अकेला नहीं छोड़ते।

हम सब पर मेहर करो, थारी महिमा गावा जी

  1. “हम सब पर मेहर करो”: यह पंक्ति सामूहिक प्रार्थना का रूप ले लेती है, जहां भक्त न केवल अपने लिए, बल्कि सभी के लिए दया और कृपा मांगता है।
  2. गहरा संदेश: यह समर्पण और भगवान के प्रति कृतज्ञता को दर्शाता है।

भजन का समापन

बालाजी म्हारा कष्ट निवारो जी, दुखड़ा का मारया हाँ, म्हणे आन उबारो जी।
यह अंतिम पंक्तियां भक्त के विश्वास और श्रद्धा को सुदृढ़ करती हैं। यह भक्त को यह सिखाती हैं कि भगवान का नाम जपने और उन पर विश्वास करने से जीवन के हर कष्ट दूर किए जा सकते हैं।


गहरे आध्यात्मिक संदेश

  1. कष्टों का निवारण: भगवान पर विश्वास रखते हुए अपने कष्टों को उन्हें सौंप देना।
  2. भक्ति और समर्पण: हनुमान जी की भक्ति का अनुसरण करते हुए भगवान राम के नाम का सुमिरन करना।
  3. संकल्प और सहनशीलता: भगवान हनुमान की वीरता और साहस हमें अपने जीवन में दृढ़ संकल्प और सहनशीलता को अपनाने की प्रेरणा देते हैं।

यदि आप इसके किसी हिस्से पर और गहराई से चर्चा चाहते हैं, तो मुझे बताएं।

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